एक छोटी सी ईगो - मोना सिंह और इक़बाल खान
ईगो- सिर्फ २ अक्षर का एक छोटा सा शब्द।
पर पूरी दुनिआ इस ईगो से सुरु और ईगो पर ही ख़त्म हो जाती हैं।
एक शार्ट फिल्म है - एक छोटी सी ईगो सिर्फ १२ मिनट की जिसमे मोना सिंह और इक़बाल खान है।
इक़बाल खान (विराज) पति है जो मोना सिंह (प्रिया) अपनी पत्नी से ३ साल पहले अलग हो चूका हैं। ये उन दोनों के ईगो की कहानी हैं।
जो छोटी छोटी बातों पर लड़ते लड़ते ३ साल पहले अलग हो चुके है फिर अचानक एक दिन प्रिया एक कॉफ़ी शॉप के बाहर विराज को ऑटो से उतरते हुए दिखती हैं। विराज उसे देखकर चौक जाता है पर फिर तुरंत वो प्रिया से कॉफ़ी के लिए पूछता है।
प्रिया पहले टालती है पर फिर कॉफ़ी के लिए मान जाती हैं। जब दोनों कॉफ़ी के लिए बैठते है तब विराज खुद के लिए चाय और प्रिया के लिए कॉफ़ी का आर्डर देता हैं। तब प्रिया कहती है-" मैं अब चाय पीती हु। "
दोनों अपने मन में एक दूसरे को बहोत कुछ कहना चाहते है पर एक दूसरे से कुछ नहीं कहते बस शांति से चाय पिते है और मन में एक दूसरे को बीते ३ सालो में हुए बदलाव की बात करते रहते है, पर मन में।
जैसे विराज कहता है अपने मन में - "अब मुझसे भी दाल में नमक ज्यादा गिर जाता है, और टोस्ट जल जाते है बेवजह मैं तुम पर चिल्लाता था। "
वही प्रिया अपने मन में कहती है- "अब मैं एरोगेन्ट नहीं हु विराज, अब मैं सब से हस-बोल के बात करती हु। "
दोनों एक दूसरे को बहोत कुछ कहना चाहते है पर कहते कुछ भी नहीं।
कॉफ़ी ख़त्म होने पर जब प्रिया उठकर जाने लगती है तब वो अपने मन में कहती है -एक बार आवाज दे कर रोक लो विराज, मैं भागी चली आउंगी। " बार-बार वो कहती रहती है एक बार आवाज देकर रोक लो विराज - पर ये सब वो अपने मन में ही बोलती रहती है।
और वही विराज भी अपने मन में कहता - " एक बार पलट जाओ प्रिया, मैं सॉरी बोल दूंगा अपनी सभी गलतियों की माफ़ी मांग लूँगा। "
पर फिर वही बात है - एक छोटा सा ईगो।
ना विराज रोकता है प्रिया को और ना ही प्रिया पलट कर देखती हैं।
और दोनों फिर से अलग हो जाते हैं। निचे वीडियो है एक छोटी सी ईगो पूरा देखिएगा।
ईगो आपका कभी कोई फायदा नहीं करवाता है वो सिर्फ आपको बर्बाद ही करता है लोगो से हमेशा के लिए दूर कर देता है।
ईगो की वजह से रिश्ते टूट जाते है कई बिज़नेस ख़त्म हो जाते है।
एक दूसरे से बात कीजिये हर समस्या का समाधान ढूढ़िये ना की अपने ईगो को बड़ा बना कर रिश्ते ख़त्म कर दीजिये।
मैं अक्सर कहता हु " गलती क्या थी ये गलती करने के बाद समझ में आया। "
मगर आपको दूसरे की गलती से भी तो सीखना चाहिए , जरुरी नहीं की हर गलती खुद कर के देखना है।
बाते कीजिये ईगो को दूर रखिये।
वीडियो यहाँ देखिये।
पर पूरी दुनिआ इस ईगो से सुरु और ईगो पर ही ख़त्म हो जाती हैं।
एक शार्ट फिल्म है - एक छोटी सी ईगो सिर्फ १२ मिनट की जिसमे मोना सिंह और इक़बाल खान है।
इक़बाल खान (विराज) पति है जो मोना सिंह (प्रिया) अपनी पत्नी से ३ साल पहले अलग हो चूका हैं। ये उन दोनों के ईगो की कहानी हैं।
जो छोटी छोटी बातों पर लड़ते लड़ते ३ साल पहले अलग हो चुके है फिर अचानक एक दिन प्रिया एक कॉफ़ी शॉप के बाहर विराज को ऑटो से उतरते हुए दिखती हैं। विराज उसे देखकर चौक जाता है पर फिर तुरंत वो प्रिया से कॉफ़ी के लिए पूछता है।
प्रिया पहले टालती है पर फिर कॉफ़ी के लिए मान जाती हैं। जब दोनों कॉफ़ी के लिए बैठते है तब विराज खुद के लिए चाय और प्रिया के लिए कॉफ़ी का आर्डर देता हैं। तब प्रिया कहती है-" मैं अब चाय पीती हु। "
दोनों अपने मन में एक दूसरे को बहोत कुछ कहना चाहते है पर एक दूसरे से कुछ नहीं कहते बस शांति से चाय पिते है और मन में एक दूसरे को बीते ३ सालो में हुए बदलाव की बात करते रहते है, पर मन में।
जैसे विराज कहता है अपने मन में - "अब मुझसे भी दाल में नमक ज्यादा गिर जाता है, और टोस्ट जल जाते है बेवजह मैं तुम पर चिल्लाता था। "
वही प्रिया अपने मन में कहती है- "अब मैं एरोगेन्ट नहीं हु विराज, अब मैं सब से हस-बोल के बात करती हु। "
दोनों एक दूसरे को बहोत कुछ कहना चाहते है पर कहते कुछ भी नहीं।
कॉफ़ी ख़त्म होने पर जब प्रिया उठकर जाने लगती है तब वो अपने मन में कहती है -एक बार आवाज दे कर रोक लो विराज, मैं भागी चली आउंगी। " बार-बार वो कहती रहती है एक बार आवाज देकर रोक लो विराज - पर ये सब वो अपने मन में ही बोलती रहती है।
और वही विराज भी अपने मन में कहता - " एक बार पलट जाओ प्रिया, मैं सॉरी बोल दूंगा अपनी सभी गलतियों की माफ़ी मांग लूँगा। "
पर फिर वही बात है - एक छोटा सा ईगो।
ना विराज रोकता है प्रिया को और ना ही प्रिया पलट कर देखती हैं।
और दोनों फिर से अलग हो जाते हैं। निचे वीडियो है एक छोटी सी ईगो पूरा देखिएगा।
ईगो आपका कभी कोई फायदा नहीं करवाता है वो सिर्फ आपको बर्बाद ही करता है लोगो से हमेशा के लिए दूर कर देता है।
ईगो की वजह से रिश्ते टूट जाते है कई बिज़नेस ख़त्म हो जाते है।
एक दूसरे से बात कीजिये हर समस्या का समाधान ढूढ़िये ना की अपने ईगो को बड़ा बना कर रिश्ते ख़त्म कर दीजिये।
मैं अक्सर कहता हु " गलती क्या थी ये गलती करने के बाद समझ में आया। "
मगर आपको दूसरे की गलती से भी तो सीखना चाहिए , जरुरी नहीं की हर गलती खुद कर के देखना है।
बाते कीजिये ईगो को दूर रखिये।
वीडियो यहाँ देखिये।
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